Railway Knowledge : चादर तानकर सो जाओ, उठाने की जिम्मेदारी टीटी की, स्टेशन आने से पहले आएगा भागा-भागा

नई दिल्‍ली. ट्रेन से सफर के दौरान कई यात्री ऐसे होते हैं, जिनका गंतव्‍य स्‍टेशन रात में आता है, वो रात भर इस डर से सो नहीं पाते हैं कि कहीं उनका स्‍टेशन निकल न जाए. इस तरह पूरी रात जागते-जागते निकाल देते हैं और इस तरह अगले दिन नींद आती रहती है. आपको यह पता होना चाहिए कि रेलवे ने ऐसे यात्रियों के लिए नियम बना रखा है और इसके तहत ऐसे यात्रियों को जगाने की जिम्‍मेदारी टीटी की है. आइए जानें रेलवे के नियम.

भारतीय रेलवे ने ट्रेनों से सफर करने वाले यात्रियों के खास सुविधा मुहैया कराने के नियम बने हैं. इस नियम को ट्रेन स्‍टाफ को पालन करना अनिवार्य है. अगर इस संबंध में कोई लापरवाही बरतता है तो शिकायत होने पर उस पर कार्रवाई तक की जा सकती है.

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रेल मैन्‍युअल के अनुसार प्रीमियत ट्रेनों राजधानी, तेजस, दूरंतो के अलावा मेल और एक्‍सप्रेस ट्रेनों के एसी कोच में अगर किसी यात्री का गंतव्‍य स्‍टेशन रात 10 बजे से लेकर सुबह छह बजे के बीच आता है, उसे जगाकर सुविधाजनक ढंग से उतारने की जिम्‍मेदारी टीटी की है. इसके के लिए टीटी के पास वेक अप मेमो होता है.

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टिकट चेकिंग के दौरान रात में उतरने वाले यात्री नाम और सीट नंबर मेमो में लिखना होता है. और स्‍टेशन आने से पहले कोच अटेंडेंट को भेजकर जगाकर उसके गंतव्‍य स्‍टेशन के बताना होता है. इतना ही नहीं अगर किसी यात्री को रात में एक स्‍टेशन पर उतकर दूसरी ट्रेन पकड़नी है (टिकट का पीएनआर एक ही होना चाहिए) उसे उसकी ट्रेन और प्‍लेटफार्म की जानकारी देना भी नियमों में शामिल है. अगर कोई टीटी इस पर लापरवाही बरता है तो उसके खिलाफ शिकायत भी दर्ज की जा सकती है.

Tags: Indian railway, Indian Railway news

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Author: Baaghi News

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